नशे से तौबा कर शुरू की नशा छुड़ाने की मुहिम

स्मैक ने मेरे बेटे के जीवन को इस कदर तबाह किया कि लगने लगा था हाथ से निकल गया। इंटरमीडिएट की पढ़ाई के बाद बेटे को देहरादून के एक इंस्टीट्यूट में होटल मैनेजमेंट का कोर्स कराने भेजा था। इस दौरान बेटा कब स्मैक की अंधेरी गलियों में खो गया इसका अंदाजा बहुत देर में लग पाया। बेटे के हालात यादकर आज भी मेरे रोंगटे खड़े हो जाते हैं। आखिरकार मां होने के नाते मैंने अपने बच्चे को नए सिरे से जीवन देने की ठानी और अब वह स्वस्थ है। इतना ही नहीं बेटे ने अब दूसरों को नशा छुड़ाने की मुहिम शुरू की है।


यह घटना है ढालवाला स्थित एक परिवार की। यहां एक मां ने 12वीं कक्षा पास करने के बाद बेटे की रुचि के हिसाब से उसे होटल मैनेजमेंट कराने के लिए देहरादून के नामी इंस्टीट्यूट में दाखिला कराया। मगर, बेटा पढ़ाई के मन लगाने के बजाय अन्य लड़कों की संगत में आकर स्मैक का आदी हो गया। कोर्स पूरा करने के बाद जब बेटा घर लौटा तो पूरे दिनभर सोता रहता, जबरन उठाने पर उठता और बाहर की चीजें खाने के लिए रुपये मांगता। बेटे की आंखों में हर समय नींद, थकान और शरीर सूखता देख मां की आंखें सजल हो जाती थीं। धीरे-धीरे बेटा रुपये ज्यादा मांगने लगा। मां जब रुपये देने से मना करती तो वह अभद्रता पर उतारू हो जाता था। यहां तक कि खाना भी छोड़ देता था।
आखिरकार मां ने तरीका खोजा। काफी प्यार से पूछने पर बेटे ने स्मैक की गिरफ्त में आने की बात कबूली। महिला ने बेटो को रिहैब सेंटर में भर्ती कराने के लिए इंटरनेट पर सर्च करना शुरू किया। नेट पर पता चला कि देहरादून में प्रेमनगर स्थित एक रिहैब सेंटर है। वहां जाकर महिला ने पूरी जानकारी ली उसके बाद बेटे को भर्ती करा दिया। करीब अठ महीने उपचार के बाद युवक अब पूरी तरह स्वस्थ है। खास बात ये है कि जो युवक नशे के दलदल में खोकर अपने जीवन की दिशा भूल चुका था वही अब रिहैब सेंटर में आने वाले नशे के लती लोगों को काउंसिलिंग कर जिंदगी बांट रहा है।
एक दिन के शौक ने पूरी जिंदगी गिरफ्त में कर ली
नशे की गिरफ्त में आए 24 वर्षीय युवक ने बताया कि कॉलेज ज्वाइन करने के बाद उसने दोस्तों के साथ एक बार शौकिया स्मैक ली थी। बाद में लत पड़ गई और दिन में तीन बार रोजाना लेने लगा। सेंटर में काउंसिलिंग के जरिए योग मेडिटेशन, साइको थैरेपी की बदौलत वह अपने पुराने स्वरूप में लौटा है। उसका कहना है कि अब कभी नशे की ओर नहीं देखेगा। साथ ही ज्यादा से ज्यादा युवाओं की काउंसलिंग कराने में मदद करेगा।